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पंचम धारा म्यूजिकल नाइट ने रीमिक्स के दौर में ओरिजिनल ओल्ड मेलोडी को किया जीवंत

लखनऊ । भारतीयम द्वारा अपनी स्थापना के 35 वें वर्ष के अवसर पर शिवांजना स्टूडियो के सहयोग से दो दिवसीय संगीत और नाटक समारोह का आयोजन, बुधवार 19 और गुरुवार 20 नवम्बर को गोमती नगर स्थित संत गाडगे जी महाराज ऑडिटोरियम में किया जा रहा है। इस समारोह के पहले दिन 19 नवम्बर को शिवांजना म्यूजिक की विधिवत लॉन्चिंग की गई। इस अवसर पर “पंचम धारा” नाम से संगीत समारोह का भव्य आयोजन किया गया। यह समारोह भारतीय बॉलीवुड संगीत के विश्वविख्यात संगीतकार आर.डी. बर्मन को समर्पित किया गया। वर्ष 1984 से संगीत के क्षेत्र में स्थापित हो चुका सुपरिचित नाम “वायलेंट द म्यूजिकल बैंड” के कलाकारों ने इस यादगार शाम को सजाया। इस शाम में खासतौर से मुम्बई से मशहूर ड्रमर, जॉन टी. हंट को आमंत्रित किया गया था। जॉन टी. हंट ने आर.डी. बर्मन और जतिन ललित के कई गानों को अपनी बेहतरीन ड्रमिंग से संवारा है। लखनऊ में पहली बार भारतीयम् संस्था द्वारा “पंचम दा” को समर्पित भव्य म्यूजिकल नाइट आयोजित की गयी।

भारतीयम् -शिवांजना स्टूडियो के प्रमुख राजीव रंजन सिंह ने बताया कि वर्तमान में यू-ट्यूब पर “शिवांजना म्यूजिक” नाम से चैनल उपलब्ध है। इस पर “कोई हमदर्द” और “खूबसूरत तुम” जैसे कई लोकप्रिय गीत सुने जा सकते हैं। भारतीयम् की प्रस्तुति में शिवांजना म्यूजिक के बैनर तले संगीत के आयोजन और थिएटर के आयोजन, शिवांजना स्टूडियो के माध्यम से किये जा रहे हैं। “पंचम धारा” की सुरीली शाम को सजाने वाले कलाकारों में शामिल थे – कीबोर्ड पर सौरभ शर्मा, बेस गिटार पर शशि कुमार गुप्ता, स्पेनिश गिटार पर अनिल राजपूत, ढोलक और कांगो पर पंकज भारती, तुम्बा पर अंकित कुमार, तबला पर नितेश भारती, सैक्सोफोन पर राजकुमार और ऑक्टोपैड पर अनुराग श्रीवास्तव। जिनके सुरीले कंठों ने इस शाम को यादगार बनाया उस गायक दल में शामिल रहे कुलदीप, जमाल, रश्मि, दिव्यांशी और अमित। ऑडिटोरियम में तालियों की गूंज ने बता दिया कि यह शाम आगंतुकों के लिए यादगार साबित हुई। इस शाम को “पंचम दा” के जिन सदाबहार ओल्ड मेलोडी ने यादगार बनाया उनमें शामिल थे “तुम जो मिल गये हो”, “दिल क्या करे”, “प्यार करने वाले”, “तुमने मुझे देखा”, “चला जाता हूं”, “ये जो मोहब्बत है”, “दिलबर मेरे”, “बेचारा दिल क्या करे”, “लेकर हम दीवाना दिल”, “वादा करो नहीं”, “ऐ हसीना जुल्फों वाली”, “बचना ऐ हसीनों” जैसे कई हसीन नगमें। इस सुरीली शाम को मशहूर लाइट डिजाइनर गोविंद सिंह यादव अपनी स्पेशल लाइट इफेक्ट्स से, दर्शकों को म्यूजिक गैलेक्सी का अहसास करवाया वहीं श्रेया अवस्थी गानों से जुड़े दिलचस्प किस्से भी सुनाए।
राजीव रंजन के अनुसार भारतीयम् और शिवांजना म्यूजिक का ऐसी म्यूजिकल नाइट करने का मकसद यह है कि वह सभी महान संगीतकार जिन्होंने भारतीय फिल्म संगीत को एक से बढ़कर एक यादगार गाने दिए हैं उन्हें फिर से उनके मूल स्वरूप में याद किया जाए क्योंकि आज की युवा पीढ़ी रीमिक्स गाने के दौर में उलझती जा रही है। ऐसे में उस दौर के लोकप्रिय संगीतकारों की ओरिजनल मेलोडी को नई पीढ़ी तक पहुंचाने का नैतिक दायित्व शिवांजना म्यूजिक निभाएगी। यह अपनी स्वर्णिम विरासत को संरक्षित करने का एक प्रयास भी है। राजीव रंजन के अनुसार उनका प्रयास रहेगा कि हर साल कम से कम चार ऐसे ग्रांड म्यूजिकल नाइट करें और हर एक म्यूजिकल नाइट किसी न किसी स्थापित बॉलीवुड के संगीतज्ञ को समर्पित की जाए। इसके साथ ही शिवांजना स्टूडियो संगीत के प्रतिभावान कलाकारों को मंच भी प्रदान करेगा वहीं शिवांजना म्यूजिक चैनल के माध्यम से मार्गदर्शन देकर उन्हें वैश्विक स्तर पर भी पहुंचाएगा। उनके अनुसार जल्द ही शिवांजना स्टूडियो की ओर से चिनहट क्षेत्र में शूटिंग डेस्टिनेशन की सुविधा भी उपलब्ध होने लगेगी जहां एक ही छत के नीचे सभी प्रकार की शूटिंग की जा सकेगी। वहां आउटडोर लोकेशन से लेकर इनडोर क्रोमा सेटअप और रिप्रोडक्शन, प्रोडक्शन, पोस्ट प्रोडक्शन जैसे विभिन्न सुविधाएं मिलेगी।
इस क्रम में 20 नवम्बर को वरिष्ठ रंग निर्देशक पुनीत अस्थाना के निर्देशन में नाटक “द क्लाउन-विदूषक” का मंचन किया जाएगा। यह नाट्य प्रस्तुति वरिष्ठ हास्य अभिनेता चार्ली चैपलिन को समर्पित की जा रही है। इस अवसर पर सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी, लेखक, नाटककार और निर्देशक पद्मश्री डी.पी. सिन्हा और वरिष्ठ रंगकर्मी पद्मश्री राज बिसारिया को श्रद्धासुमन अर्पित किये जाएंगे।

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